राम नाम का जाप कैसे करें-
राम नाम का जप हर दुख को दूर कर देता है और सुख समृद्धि और सौभाग्य सब कुछ प्राप्त होता है। आज हम आपको इस आर्टिकल के माध्यम से राम नाम के जाप की विधि बताएंगे किस प्रकार करें। हमारे धर्मशास्त्र में बहुत सारे मंत्र बताए गए हैं इनमें से कुछ उपाय ऐसे हैं जो बहुत समय लेते हैं, परंतु एक उपाय ऐसा है जो बहुत कम समय में हमारी सब इच्छाएं पूरी कर देता है, वह राम नाम मंत्र।
राम नाम मंत्र में किसी भी तरह की विधि विधान की कोई ज्यादा आवश्यकता नहीं है। यह केवल सरल तरीके से लिया जा सकता है।
हमारे धर्म शास्त्रों के अनुसार भगवान का नाम स्मरण एक ऐसा उपाय है जिसके करने के लिए किसी दीक्षा की जरूरत नहीं होती। यह शुभ मुहूर्त पर शुरू कर सकते है। यदि आप केवल राम नाम का जाप करते इससे भी आपको सभी लाभ मिल सकते हैं जो गायत्री मंत्र और महामृत्युंजय जाप से मिलते हैं। इसकी साधना और मन्तरो की तुलना में बहुत सरल और सहज है।
● राम नाम का जाप कैसे और कब करें -गोस्वामी तुलसीदास ने रामचरितमानस में लिखा है कलयुग में केवल दो शब्दों यानी राम नाम सबसे उत्तम और सरल विधि है । अथवा आप जिस उद्देश्य के लिए नाम जप करना चाहते हैं कर सकते हैं।
याद रखें कि सच्चे विश्वास और श्रद्धा के साथ शुभ कार्य किया जाए तभी भक्त को सफलता मिलती है, इसलिए अनुष्ठान के समय मन में किसी भी प्रकार का संदेह न रखें। यदि आप भी अपने जीवन में सुख शांति और सौभाग्य पाना चाहते हैं तो हर समय राम नाम जपते रहिए। आपका भाग्य उदय हो जाएगा।
अगर आपके मन में कोई इच्छा है तो उसे पूरा करने के लिए आप राम नाम का जाप करने के इच्छुक है तो ,इसके लिए सकंलप लेकर शुरू करना चाहिए।
इच्छा पुरी करने के लिए राम नाम का जाप सवा लाख , सवा करोड़ मंत्र जाप, या फिर दिन में 108 बार अवश्य एक बार जप करना चाहिए।
इसके कुछ नियम होते हैं जिनका पालन करना अनिवार्य है।
यह इस प्रकार हैं राम नाम का मंत्र जप किसी शुभ मुहूर्त में शुरू करना चाहिए। इसके बाद अपना मंत्र जाप शुरू करें।
राम नाम जप आप जितना अधिक कर सकते हैं उतना करे।
प्रतिदिन कम से कम हजार नाम जप तो करना ही चाहिए। राम नाम मंत्र का कम से कम सवा लाख जप अवश्य करना चाहिए।
राम नाम के जप को कभी भी कहीं भी किसी भी स्थिति में किया जा सकता है बस याद रखें बाथरूम और अपवित्र स्थान पर नहीं करना चाहिए। साथ में जप आप अशुद्ध अवस्था में हो तब भी माला जप नहीं करना चाहिए। उसे समय आप मानसिक जाप कर सकते हैं ।
अनुष्ठान के दौरान ब्रह्मचर्य का पालन अवश्य करें अपने जीवनसाथी या किसी और को देखना भी नाम जप प्रभाव को कम कर देता है।राम नाम जप मैं भोजन संबंधी विशेष नियम पालन करना चाहिए
इसके दौरान पूरी तरह से अंडा मांस ,मछली शराब , तामसिक भोजन से दूर रहना चाहिए।
राम नाम जप करते समय किसी को भी कष्ट ही दुख पहुंचाने पर कर भी मन में ना लाएं ऐसा करने से साधना का पुण्य नष्ट हो जाता है।
● राम नाम जप करने के लाभ -
जो लोग बहुत ज्यादा बीमारियों से ग्रस्त रहते हैं वह अगर रोज राम का नाम जप करते हैं तो कुछ ही दिनों में वह निरोगी हो जाएंगे। जब आप राम नाम का बोलते हैं पहला अक्षर रा आता है जिसमें आपको पूरा मुंह खोलते हैं जिससे सारे ब्रह्मांड के शक्ति शरीर के अंदर प्रवेश कर जाती है। और जब म अक्सर उच्चरित करते हैं तो मुख आपका बंद हो जाता है तो ऐसे में सारे ब्रह्मांड की शक्ति आपके शरीर में समा जाती हैं।
राम नाम के जब से शनि दोष दूर होता है भगवान राम के जाप करने से मंगल दोष का भी असर कम होता है राम नाम में वह ताकत है जो असंभव को भी संभव कर सकता है इसलिए जितना हो सके राम नाम का जाप करें।
प्रतिदिन 108 बार नियमित रूप से राम नाम का जाप करने से बीपी एंगजायटी जैसी समस्याओं से 3 महीने में कंट्रोल आ सकती हैं अगर आप ज्यादा नहीं कर सकते तो एक माला का जाप अवश्य करें ताकि आप स्वस्थ रह सके। राम नाम मंत्र इंसान को स्वस्थ रखने के लिए सबसे बड़ा रामबाण उपाय है।
राम नाम के जपने से मन में सकारात्मक विचारों का संचार होगा।
इसके अलावा आप बरगद के पत्ते पर केसर से राम नाम लिखकर या तो हनुमान के मंदिर में चढ़ा दे फिर अपने पर्स में रखें ऐसा करने से धन की वृद्धि होती है।
राम नाम जब करते समय भगवान हनुमान को भी का भी स्मरण करते रहना चाहिए अगर ज्यादा ना हो सके तो हनुमान चालीसा का जप अवश्य करें।
राम नाम जप में वो ताकत है जो बिगड़े हुए काम को बना सकता है और जो बहुत ही कारगर है। राम नाम जपने के लिए कोई ज्यादा विधि विधान की जरूरत नहीं है । आप अपने घर के मन्दिर में नाम का जप शुरू कर सकते हैं।
Disclaimer-
यहां दी गई जानकारी हमारे धर्म शास्त्रों के अनुसार लिखी गई है इसमें हमारा खुद को कोई योगदान नहीं है।
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